जर्मनी की वोकेशनल ट्रेनिंग है बहुत सफल
जयपुर. विश्व की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था जर्मनी में इस समय श्रमिकों और प्रोफेशनल्स की बहुत अधिक कमी बनी हुई है। इस कारण जर्मन सरकार परेशानी में है। इस कमी को पूरा करने के लिए ही जर्मनी ने आऊसबिल्डुंग प्रोग्राम लागू कर रखा है। इस प्रोग्राम में वहां विदेशों से आए युवाओं को अलग अलग स्किल की वोकेशनल ट्रेनिंग दी जाती है और यह काफी सफल भी रही है। इसलिए बहुत से युवा इस प्रोग्राम को ज्वॉइन कर रहे है। इससे जर्मनी को कुशल श्रमिक और प्रोफेशनल्स मिल रहे है जिससे उसकी अर्थव्यवस्था को लाभ मिल रहा है।
जर्मनी में आऊसबिल्डुंग प्रोग्राम के अंतर्गत अलग अलग ट्रेड और स्किल का विश्व स्तरीय प्रशिक्षण दिया जाता है। इस प्रशिक्षण का समय अलग अलग है। जैसे नर्सिंग, होटल, रेस्टोरेंट आदि का तीन साल तो टेक्नीकल का साढे़ तीन साल का समय रहता है। इस दौरान क्लास रूम में सैद्धांतिक शिक्षण नियमित रूप से दिया जाता है तो व्यवाहरिक प्रशिक्षण भी पूरी तरह से दिया जाता है। इसके बीच बीच में होने वाली परीक्षा को भी पास करना होता है। इस शिक्षण प्रशिक्षण को सफलतापूर्वक पूरा करने वाला जर्मनी में नियमित जॉब पाने वाला बन जाता है। वह दुनिया में कहीं भी अच्छा जॉब पा सकता है या वह चाहे तो कुछ साल के बाद जर्मनी की पीआर ले सकता है। वह स्वयं का भी कार्य शुरू कर सकता है जैसे बेकरी में। इस प्रोग्राम की खास बात यह है कि इस शिक्षण प्रशिक्षण के साथ हर माह अच्छा स्टाईपेंड भी मिलता है जो हर साल बढ़ता है। छह-सात माह के बाद पार्ट टाइम शुरू होने पर मासिक आय एक लाख रुपए से अधिक हो जाती है कुछ युवाओं को तो सवा लाख रुपए से भी अधिक का पारिश्रमिक मिलने लग जाता है। इस प्रोग्राम में जाने के लिए जर्मन लैंग्वेज का स्तर न्यूनतम बी 1 होना चाहिए। बी 2 का स्तर होने पर और भी अधिक अच्छा रहता है। अधिक जानकारी के लिए आप इन नंबरों पर संपर्क कर सकते है-7597559400, 7240061884.